हरियाणा में मध्यम स्तर की सजावटी मछली पालन इकाई पर सब्सिडी: पीएम मत्स्य संपदा योजना के तहत बड़ा अवसर

हरियाणा में सजावटी मछली पालन को बढ़ावा: पीएम मत्स्य संपदा योजना के तहत सब्सिडी योजना शुरू

हरियाणा सरकार ने सजावटी मछली पालन को प्रोत्साहित करने के लिए एक नई पहल की है। प्रधानमंत्री मत्स्य संपदा योजना (PMMSY) के तहत मध्यम स्तर की सजावटी मछली पालन इकाइयों के लिए सब्सिडी प्रदान की जा रही है। यह योजना राज्य के निवासियों को एक स्थायी आजीविका विकल्प देने के उद्देश्य से शुरू की गई है।

🎯 योजना का उद्देश्य और पृष्ठभूमि

प्रधानमंत्री मत्स्य संपदा योजना केंद्र सरकार द्वारा प्रायोजित एक प्रमुख योजना है, जिसे देश में मत्स्य पालन को बढ़ावा देने के लिए शुरू किया गया था। हरियाणा सरकार के मत्स्य विभाग ने इस योजना के तहत सजावटी मछली पालन को एक व्यावसायिक अवसर के रूप में विकसित करने का लक्ष्य रखा है।

क्यों है सजावटी मछली पालन महत्वपूर्ण?

  • भारत में सजावटी मछलियों की मांग तेजी से बढ़ रही है।
  • शहरी क्षेत्रों में एक्वेरियम संस्कृति का विस्तार हो रहा है।
  • कम निवेश में अच्छा रिटर्न देने वाला व्यवसाय है।
  • पर्यावरण के अनुकूल और कम भूमि पर आधारित आजीविका विकल्प।

💰 वित्तीय सहायता और लाभ

इस योजना के तहत लाभार्थियों को सजावटी मछली पालन के लिए आवश्यक ढांचे की स्थापना हेतु आर्थिक सहायता दी जाती है। इसमें शेड, ब्रीडिंग यूनिट, पालन टैंक आदि शामिल हैं।

परियोजना लागत और सब्सिडी विवरण:

  • कुल परियोजना लागत: ₹8,00,000 प्रति यूनिट
  • सामान्य श्रेणी के लिए सब्सिडी: परियोजना लागत का 40%
  • अनुसूचित जाति (SC) और महिला लाभार्थियों के लिए: परियोजना लागत का 60%

🧾 पात्रता मानदंड

इस योजना का लाभ उठाने के लिए निम्नलिखित पात्रता शर्तें निर्धारित की गई हैं:

  1. आवेदक हरियाणा का निवासी होना चाहिए।
  2. वैध परिवार पहचान पत्र (Parivar Pehchan Patra) होना अनिवार्य है।
  3. कम से कम 150 वर्ग मीटर खाली भूमि होनी चाहिए जिसमें ताजे पानी की सुविधा उपलब्ध हो।
  4. भूमि स्वामित्व या कम से कम 7 वर्षों की वैध लीज डीड आवश्यक है।

🖥️ आवेदन प्रक्रिया: SARAL पोर्टल के माध्यम से ऑनलाइन आवेदन

हरियाणा सरकार ने आवेदन प्रक्रिया को सरल और डिजिटल बना दिया है। इच्छुक लाभार्थी Antyodaya-SARAL पोर्टल के माध्यम से आवेदन कर सकते हैं।

आवेदन के चरण:

पंजीकरण:

  1. SARAL पोर्टल पर जाएं।
  2. “New User/Register Here” पर क्लिक करें।
  3. नाम, ईमेल, मोबाइल नंबर और पासवर्ड भरें।
  4. OTP या वेरिफिकेशन लिंक के माध्यम से प्रोफाइल सक्रिय करें।

लॉगिन और आवेदन:

  1. SARAL पोर्टल पर लॉगिन करें।
  2. “Scheme/Services List” में जाकर योजना चुनें।
  3. “Apply for Service/Scheme” पर क्लिक करें।
  4. आवेदन फॉर्म भरें और सबमिट करें।

ट्रैकिंग विकल्प:

  • SMS द्वारा: SARAL लिखकर 9954699899 पर भेजें।
  • एप्लिकेशन ID के साथ ट्रैकिंग भी संभव है।

📂 आवश्यक दस्तावेज़

योजना के लिए आवेदन करते समय निम्नलिखित दस्तावेज़ों की आवश्यकता होती है:

  • विभाग और लाभार्थी के बीच समझौता पत्र
  • जन्म प्रमाण पत्र / वोटर ID / आधार कार्ड / कक्षा 10वीं की मार्कशीट
  • जाति प्रमाण पत्र (प्रथम श्रेणी मजिस्ट्रेट द्वारा जारी)
  • मत्स्य पालन प्रशिक्षण प्रमाण पत्र
  • भूमि रिकॉर्ड या लीज डीड
  • बैंक खाता और पैन कार्ड विवरण
  • परियोजना रिपोर्ट (DPR/SCP)
  • लाभार्थी की यूनिट के साथ फोटो

📞 संपर्क जानकारी

  • हेल्पलाइन नंबर: 0172-3968400
  • ईमेल: saral.haryana@gov.in
  • सेवा शुल्क: ₹10
  • सरकारी शुल्क: ₹0

🌐 योजना का व्यापक प्रभाव

हरियाणा में यह योजना ग्रामीण और अर्ध-शहरी क्षेत्रों में स्वरोजगार को बढ़ावा देने के लिए एक महत्वपूर्ण कदम है। सजावटी मछली पालन न केवल आर्थिक रूप से लाभकारी है, बल्कि यह पर्यावरणीय दृष्टिकोण से भी अनुकूल है।

संभावित लाभ:

  • ग्रामीण युवाओं को रोजगार के अवसर
  • महिलाओं को आर्थिक आत्मनिर्भरता
  • मत्स्य पालन उद्योग में विविधता
  • निर्यात की संभावनाएं

[External Source: National Fisheries Development Board – nfdb.gov.in]

❓ अक्सर पूछे जाने वाले प्रश्न (FAQs)

Q1: क्या यह योजना केवल हरियाणा के निवासियों के लिए है?

हाँ, यह योजना केवल हरियाणा राज्य के निवासियों के लिए लागू है।

Q2: क्या महिला लाभार्थियों को अधिक सब्सिडी मिलती है?

जी हाँ, महिला और अनुसूचित जाति के लाभार्थियों को 60% तक की सब्सिडी दी जाती है।

Q3: क्या बिना जमीन के व्यक्ति आवेदन कर सकता है?

यदि आवेदक के पास वैध लीज डीड है (कम से कम 7 वर्षों की), तो वह पात्र है।

Q4: क्या आवेदन के लिए कोई शुल्क है?

सरकारी शुल्क ₹0 है, लेकिन सेवा शुल्क ₹10 लिया जाता है।

Q5: क्या योजना के लिए प्रशिक्षण आवश्यक है?

हाँ, मत्स्य पालन का प्रशिक्षण प्रमाण पत्र अनिवार्य है।

🔚 निष्कर्ष

प्रधानमंत्री मत्स्य संपदा योजना के तहत हरियाणा सरकार द्वारा शुरू की गई यह सब्सिडी योजना सजावटी मछली पालन को एक लाभकारी व्यवसाय के रूप में स्थापित करने की दिशा में एक महत्वपूर्ण पहल है। इससे न केवल स्वरोजगार को बढ़ावा मिलेगा, बल्कि राज्य के मत्स्य उद्योग को भी नई दिशा मिलेगी।

अगर आपको यह लेख उपयोगी लगा हो, तो इसे शेयर करें और दूसरों को भी जागरूक करें। NEWSWELL24.COM पर हम ऐसे ही जरूरी और भरोसेमंद जानकारी लाते रहते हैं।

Leave a Comment

WhatsApp Channel Join Now
Telegram Group Join Now
Instagram Group Join Now